नोएडा सेक्टर-39 पुलिस ने सूट-बूट पहनकर स्कूटी से बंद घरों और फ्लैट की रेकी करने के बाद चोरी करने वाले गिरोह के दो बदमाशों को सोमवार को गिरफ्तार किया। दोनों दिल्ली-एनसीआर में 50 से अधिक वारदात को अंजाम दे चुके हैं। बदमाशों पर लूट और चोरी के 13-13 मुकदमे अलग-अलग थाना क्षेत्र में दर्ज हैं। इस मामले में महिला समेत तीन आरोपी अभी भी फरार हैं। उनको वांछित घोषित किया गया है। गिरफ्त में आए आरोपियों की पहचान पश्चिमी बंगाल के सिराजुद्दीन उर्फ सिराज उर्फ शिवा बंगाली और पंजाब के संगरूर के शहजाद उर्फ पहलवान के रूप में हुई है। उनके कब्जे से चोरी का सात तोला सोना, औजार, स्कूटी, तमंचा और कारतूस बरामद हुआ है।
एडिशनल डीसीपी शक्ति मोहन अवस्थी ने बताया कि गिरफ्त में आए आरोपियों ने छह जुलाई को सेक्टर-37 के अरुण विहार कॉलोनी स्थित एक घर का ताला तोड़कर 37 तोला सोना चोरी कर लिया था। महिला ने मामले की शिकायत सेक्टर-39 थाने की पुलिस से की थी। पुलिस ने अज्ञात बदमाशों के खिलाफ केस दर्ज कर जब मामले की जांच शुरू की तो उसके हाथ एक सीसीटीवी फुटेज लगी, जिसमें दोनों महिला के घर में दाखिल होते और बाहर निकलते दिखाई दिए थे। बदमाशों की गिरफ्तारी के लिए एसीपी रजनीश वर्मा की अगुवाई में तीन टीम बनाई गई। रविवार को आरोपी किसी वारदात को अंजाम देने की फिराक में नोएडा आए थे तभी सेक्टर-37 के पास वे पुलिस के हत्थे चढ़ गए।
स्कूटी के नंबर प्लेट पर लगाई मिट्टी
वारदात को अंजाम देते समय बदमाशों ने स्कूटी के नंबर प्लेट पर मिट्टी डाल दी थी ताकि पुलिस को चकमा दिया जा सके। पुलिस की टीमें इस बात की भी जानकारी कर रही हैं कि स्कूटी चोरी की है या नहीं। चोरी का बाकी सोना सिराज की पत्नी के पास रखा हुआ है। वह भी इस मामले में वांछित है। सिराज छह माह पहले ही जेल से छूटा था। दोनों बदमाशों में से एक बदमाश एचआइवी पॉजिटिव बताया जा रहा है। चोरी के बाद बदमाश अक्सर कुछ समय के लिए शहर छोड़ देते थे।
पिछले 10 वर्ष से वारदात को अंजाम दे रहे थे दोनों
बदमाशों ने पुलिस पूछताछ के दौरान बताया कि वारदात को अंजाम देने से पहले और बाद में कान से मोबाइल लगा लेते थे और मास्क पहन लेते थे ताकि उनका चेहरा फुटेज में साफ न आए। इसका कई बार बदमाशों ने फायदा भी उठाया है। दोनों बदमाश करीब दस साल से चोरी की घटना को अंजाम दे रहे थे। कोट, पैंट और टाई पहनने के कारण सोसाइटी के लोग उन पर शक नहीं करते थे और बदमाश बंद और खाली घरों की रेकी आसानी से कर लेते थे। इसके बाद वारदात को अंजाम देते थे।
गैंगस्टर की कार्रवाई हो चुकी
एसीपी रजनीश वर्मा ने बताया कि दोनों आरोपी पूर्व में हरियाणा, पंजाब और गाजियाबाद से जेल जा चुके हैं। दोनों के खिलाफ गैंगस्टर एक्ट के तहत भी कार्रवाई की जा चुकी है। अरुण विहार कॉलोनी में चोरी की वारदात को अंजाम देने के बाद दोनों आरोपी स्कूटी से दिल्ली पहुंचे और दो दिन तक वहां रहे। इसके बाद वे मुंबई, पटियाल और पुणे सहित अन्य जगहों पर रहे। आरोपियों ने अपना मोबाइल भी बंद कर दिया था।
मुंबई तक कैमरे खंगाले गए
पुलिस ने दोनों की गिरफ्तारी के लिए नोएडा से पंजाब और मुंबई तक के दायरे में करीब 1200 सीसीटीवी फुटेज खंगाली। तीन टीमों के 15 पुलिसकर्मियों को 24 दिन बाद बदमाशों को गिरफ्तार करने में सफलता मिली। दोनों के खिलाफ सेक्टर-39 पुलिस की ओर से भी गैंगस्टर एक्ट के तहत कार्रवाई की जाएगी। पुलिस दोनों का आपराधिक इतिहास पता कर रही है।